कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) के केंद्रीय न्यासी बोर्ड (CBT) की 237वीं बैठक हाल ही में आयोजित की गई थी, जिसमें कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए। इस बैठक का मुख्य आकर्षण EPF ब्याज दर और ईडीएलआई योजना में संशोधन थे। आइए इस बैठक के मुख्य बिंदुओं पर विस्तार से चर्चा करें।
EPFO की यह बैठक नई दिल्ली में आयोजित की गई थी, जिसकी अध्यक्षता केंद्रीय श्रम और रोजगार मंत्री डॉ. मनसुख मांडविया ने की। इस बैठक में EPF पर ब्याज दर को वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए 8.25% रखने की सिफारिश की गई, जो पिछले वर्ष की दर से समान है।
इसके अलावा, ईडीएलआई योजना में भी महत्वपूर्ण संशोधन किए गए हैं, जिससे सदस्यों के परिवार को अधिक वित्तीय सुरक्षा मिलेगी।
एक अन्य महत्वपूर्ण मुद्दा न्यूनतम पेंशन की वृद्धि का था, जिस पर अभी तक कोई निर्णय नहीं लिया गया है। हालांकि, EPS-95 पेंशन के तहत न्यूनतम पेंशन को बढ़ाकर 7,500 रुपये करने की मांग की जा रही है, लेकिन इस पर अभी तक कोई आधिकारिक घोषणा नहीं हुई है।
EPFO CBT की 237वीं बैठक का विवरण
विषय | विवरण |
बैठक की तारीख | 2 मार्च 2025 |
ब्याज दर | वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए 8.25% |
ईडीएलआई योजना | सदस्यों के परिवार को अधिक वित्तीय सुरक्षा प्रदान करने के लिए संशोधन |
न्यूनतम पेंशन | अभी तक कोई निर्णय नहीं, लेकिन 7,500 रुपये तक बढ़ाने की मांग |
पेंशन भुगतान प्रणाली | केंद्रीकृत पेंशन भुगतान प्रणाली (CPPS) का उपयोग |
देरी से भुगतान पर जुर्माना | जुर्माना को 1% प्रति माह तक कम किया गया |
EPFO का बजट | वित्तीय वर्ष 2024-25 और 2025-26 के लिए बजट अनुमानों की मंजूरी |
EPFO CBT की मुख्य निर्णय
- EPF ब्याज दर: वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए 8.25% की दर से ब्याज दिया जाएगा, जो पिछले वर्ष की दर से समान है।
- ईडीएलआई योजना: इस योजना में संशोधन किया गया है, जिससे सदस्यों के परिवार को अधिक वित्तीय सुरक्षा मिलेगी।
- न्यूनतम पेंशन: अभी तक न्यूनतम पेंशन को बढ़ाने का कोई निर्णय नहीं लिया गया है, लेकिन इस पर चर्चा जारी है।
- केंद्रीकृत पेंशन भुगतान प्रणाली (CPPS): जनवरी 2025 से पेंशन का भुगतान केंद्रीकृत प्रणाली के माध्यम से किया जा रहा है।
- देरी से भुगतान पर जुर्माना: जुर्माना को 1% प्रति माह तक कम किया गया है और स्वचालित रूप से मामलों को समाप्त करने की व्यवस्था पर चर्चा हो रही है।
EPFO CBT की बैठक में शामिल लोग
- डॉ. मनसुख मांडविया: केंद्रीय श्रम और रोजगार मंत्री, जिन्होंने बैठक की अध्यक्षता की।
- शोभा करंदलाजे: राज्य मंत्री, श्रम और रोजगार।
- सुमिता दावरा: सचिव, श्रम और रोजगार मंत्रालय।
- रमेश कृष्णमूर्ति: केंद्रीय पीएफ आयुक्त और सदस्य सचिव।
न्यूनतम पेंशन वृद्धि: एक लंबित मांग
न्यूनतम पेंशन को बढ़ाकर 7,500 रुपये करने की मांग लंबे समय से चल रही है। यह मांग EPS-95 पेंशन के तहत की जा रही है, जिसमें वर्तमान में न्यूनतम पेंशन 1,000 रुपये है। पेंशनभोगी और सामाजिक कार्यकर्ता इसे बढ़ाने की मांग कर रहे हैं क्योंकि मौजूदा पेंशन राशि महंगाई और बढ़ते मेडिकल खर्चों को देखते हुए अपर्याप्त है।
न्यूनतम पेंशन वृद्धि के लिए तर्क
- महंगाई: बढ़ती महंगाई के कारण पेंशनभोगियों को अपनी दैनिक जरूरतों को पूरा करने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।
- मेडिकल खर्च: स्वास्थ्य सेवाओं की बढ़ती लागत के कारण पेंशनभोगियों को अधिक वित्तीय सहायता की आवश्यकता है।
- जीवन स्तर: न्यूनतम पेंशन वृद्धि से पेंशनभोगियों का जीवन स्तर सुधर सकता है।
EPFO की भूमिका और भविष्य की योजनाएं
EPFO भारत में कर्मचारियों के लिए प्रोविडेंट फंड और पेंशन सेवाएं प्रदान करने वाला एक प्रमुख संगठन है। इसकी मुख्य भूमिका है कर्मचारियों के भविष्य को सुरक्षित करना और उन्हें वित्तीय सुरक्षा प्रदान करना।
EPFO की मुख्य योजनाएं
- EPF (कर्मचारी भविष्य निधि): कर्मचारियों के लिए भविष्य निधि जमा करने की योजना।
- EPS (कर्मचारी पेंशन योजना): कर्मचारियों के लिए पेंशन सेवाएं प्रदान करना।
- ईडीएलआई (कर्मचारी जमा लिंक्ड बीमा योजना): कर्मचारियों के परिवार के लिए बीमा सुरक्षा प्रदान करना।
निष्कर्ष
EPFO CBT की 237वीं बैठक में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए, जिनमें EPF ब्याज दर और ईडीएलआई योजना में संशोधन शामिल हैं। हालांकि, न्यूनतम पेंशन को बढ़ाने का मुद्दा अभी भी लंबित है। EPFO की योजनाएं कर्मचारियों के लिए वित्तीय सुरक्षा प्रदान करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं।
Disclaimer: EPFO CBT की 237वीं बैठक में लिए गए निर्णय वास्तविक हैं, लेकिन न्यूनतम पेंशन को बढ़ाकर 7,500 रुपये करने की मांग अभी भी लंबित है। यह मांग विभिन्न संगठनों और पेंशनभोगियों द्वारा की जा रही है, लेकिन इस पर अभी तक कोई आधिकारिक घोषणा नहीं हुई है।
EPFO की योजनाएं और निर्णय वास्तविक और महत्वपूर्ण हैं, जो कर्मचारियों के भविष्य को सुरक्षित करने में मदद करते हैं।