कर्मचारी पेंशन योजना (EPS-95) और कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) के तहत पेंशन की राशि को लेकर लगातार चर्चा हो रही है। पेंशनभोगियों की लंबे समय से मांग रही है कि न्यूनतम पेंशन को बढ़ाया जाए, और इस मुद्दे पर सरकार के बयानों ने काफी हलचल पैदा की है।
विशेष रूप से, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के हालिया बयानों ने इस मुद्दे को और भी अधिक सुर्खियों में ला दिया है। सरकार पुरानी पेंशन योजना (OPS) और नई पेंशन योजना (NPS) के बीच एक संतुलन बनाने की कोशिश कर रही है ताकि कर्मचारियों को रिटायरमेंट के बाद आर्थिक सुरक्षा मिल सके।
इस मुद्दे के समाधान के लिए, सरकार ने वित्त सचिव की अध्यक्षता में एक समिति का गठन किया है, जो कर्मचारियों की पेंशन से संबंधित मामलों की जांच करेगी और अपनी रिपोर्ट सौंपेगी. इस समिति का उद्देश्य पेंशनभोगियों के लिए एक स्थायी और लाभकारी समाधान खोजना है।
विभिन्न श्रमिक संगठनों ने भी सरकार से EPFO के तहत मिलने वाली न्यूनतम पेंशन को बढ़ाने और आठवें वेतन आयोग का गठन करने की मांग की है. इस लेख में, हम पेंशन से जुड़े सभी पहलुओं पर विस्तार से चर्चा करेंगे और जानेंगे कि सरकार इस मुद्दे को लेकर क्या कदम उठा रही है।
कर्मचारी संगठन लंबे समय से NPS को खत्म करने और OPS को फिर से लागू करने की मांग कर रहे हैं. उनका कहना है कि NPS में पेंशन की राशि निश्चित नहीं होती है और यह बाजार के जोखिमों पर निर्भर करती है. वहीं, OPS में रिटायर होने वाले कर्मचारियों को उनके अंतिम वेतन का 50% पेंशन के रूप में मिलता है, जो कि निश्चित होता है.
पेंशन पर नवीनतम समाचार: EPS-95, EPFO पेंशन और वित्त मंत्री का बयान
पेंशन के मुद्दे पर देश भर में बहस जारी है. कर्मचारी संगठन और सरकार दोनों ही इस बात पर सहमत हैं कि पेंशनभोगियों को रिटायरमेंट के बाद आर्थिक सुरक्षा मिलनी चाहिए, लेकिन इस लक्ष्य को कैसे हासिल किया जाए, इस पर अभी भी मतभेद हैं. इस संदर्भ में, सरकार ने यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) नामक एक नई योजना शुरू करने का भी प्रस्ताव रखा है, जिसका उद्देश्य NPS को बेहतर बनाना है.
पेंशन संबंधी मुख्य बातें
विषय | जानकारी |
EPS-95 न्यूनतम पेंशन | कर्मचारी संगठन ₹5,000 + VDA की मांग कर रहे हैं |
OPS बनाम NPS | OPS में अंतिम वेतन का 50% पेंशन मिलती है, जबकि NPS बाजार जोखिमों पर निर्भर है |
यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) | NPS को बेहतर बनाने का प्रयास, अंतिम वेतन का 50% पेंशन के रूप में मिलेगा |
वित्त मंत्री का बयान | लोकसभा में वित्त सचिव की अध्यक्षता में समिति गठित करने का ऐलान |
समिति का उद्देश्य | पेंशन मामले की जांच करना और रिपोर्ट सौंपना |
पुरानी पेंशन योजना (OPS) | सेवानिवृत्त सरकारी कर्मचारियों को उनके अंतिम वेतन के 50% के बराबर आजीवन पेंशन मिलती है, जिसे वेतन आयोग की सिफारिशों के आधार पर समय-समय पर समायोजित किया जाता है |
नई पेंशन प्रणाली (NPS) | सशस्त्र बलों को छोड़कर सभी केंद्रीय सरकारी कर्मचारी जो अप्रैल 2004 के बाद सेवाओं में शामिल हुए, वह 20 साल पहले लागू किए गए पेंशन सुधारों के हिस्से के रूप में नई पेंशन प्रणाली (NPS) के तहत कवर किए गए हैं. NPS एक ‘Defined Contribution’ योजना के रूप में कार्य करता है। |
यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS): एक नया दृष्टिकोण
सरकार ने कर्मचारियों के लिए एक नई पेंशन योजना को मंजूरी दी है, जिसे यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) कहा जाता है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा है कि यह स्कीम मौजूदा नेशनल पेंशन सिस्टम (NPS) को बेहतर बनाने का एक प्रयास है. UPS के तहत, सरकारी कर्मचारियों को उनकी आखिरी सैलरी का 50% पेंशन के रूप में मिलेगा. यह योजना 1 अप्रैल, 2025 से लागू होने की उम्मीद है, और शुरुआत में लगभग 2,30,000 केंद्रीय कर्मचारियों को इसका लाभ मिलेगा.
UPS के मुख्य बिंदु:
- कर्मचारी अपने मूल वेतन का 10% और महंगाई भत्ता (DA) का योगदान करेंगे.
- सरकार 18.5% का योगदान करेगी.
- कर्मचारियों को उनके पिछले 12 महीनों के औसत मूल वेतन के 50% के बराबर पेंशन का आश्वासन दिया गया है.
बजट 2025-26 से उम्मीदें
श्रमिक संगठनों ने वित्त वर्ष 2025-26 के बजट के लिए सरकार के सामने कई मांगें रखी हैं. इनमें EPFO के तहत मिलने वाली न्यूनतम पेंशन को पांच गुना करने, आठवें वेतन आयोग का तत्काल गठन करने और आयकर छूट सीमा को बढ़ाकर ₹10 लाख करने जैसी मांगें शामिल हैं. यह देखना होगा कि सरकार इन मांगों पर क्या निर्णय लेती है.
निष्कर्ष
EPS-95 पेंशन और EPFO से जुड़े मुद्दों पर सरकार का ध्यान केंद्रित है, और यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) जैसी नई योजनाओं के माध्यम से सुधार की कोशिश की जा रही है. हालांकि, पेंशनभोगियों की मांगों को पूरी तरह से पूरा करने के लिए और भी कदम उठाने की आवश्यकता है। आगामी बजट 2025-26 में इन मांगों पर सरकार का क्या रुख रहता है, यह देखना महत्वपूर्ण होगा.
Disclaimer: इस लेख में दी गई जानकारी विभिन्न स्रोतों से ली गई है, जिनमें समाचार लेख और सरकारी घोषणाएं शामिल हैं। यह जानकारी केवल सामान्य मार्गदर्शन के लिए है और इसे वित्तीय या कानूनी सलाह के रूप में नहीं माना जाना चाहिए। पेंशन योजनाओं और सरकारी नीतियों में बदलाव संभव हैं, इसलिए सटीक और नवीनतम जानकारी के लिए आधिकारिक स्रोतों से परामर्श करना उचित है।